सारनी{Khatarnak Ajgar ka Video} – बाकुड़ गांव निवासी विजय काजले रोज़मर्रा की तरह अपने मवेशियों के लिए भूसा भर रहे थे, तभी उन्हें महसूस हुआ कि भूसे के अंदर कोई बड़ा जानवर मौजूद हैं। जिसके बाद उन्होंने अपने परिवार के सदस्यों को बुलाया और भूसा हटाना शुरू किया, लेकिन उस समय उनकी सांसें फूल गई जब भूसे में उन्हें लगभग बारह फिट लंबा अजगर दिखाई दिया।
जिसके बाद उन्होंने पड़ोस के ग्रामीणों को इसकी जानकारी दी, जिसपर ग्रामीण ब्रज कुमरे वहां पहुंचे और फिर वन रक्षक रितेश इवने को इसकी जानकारी दी। वन रक्षक रितेश इवने और वन रक्षक मनीलाल भारती सूचना मिलने पर मौका स्थल पर पहुंचे, जिस पर उन्होंने देखा कि लगभग 10-12 फिट लंबा अजगर भूसा रखने वाले स्टोर रूम में बैठा है और पास जाने पर लोगों पर हमला कर रहा है।
जिसके बाद रितेश इवने ने सारनी निवासी सांपों के संरक्षण का कार्य कर रहे आदिल खान को इसकी जानकारी दी, जिस पर मौके पर पहुंच कर आदिल ने अजगर सांप को लगभग दस मिनट में सुरक्षित रेस्क्यू किया और वन विभाग की मौजूदगी में ही पास के जंगल में उपायुक्त स्थान ढूंढ कर अजगर को छोड़ दिया।
आदिल ने बताया कि अजगर अपनी आत्मरक्षा में बार-बार हमला कर रहा था और मजबूत कुंडली मारकर एक ही जगह बैठा था, जिसके बाद उन्होंने उसका रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया, जब अजगर स्टोर रूम की छत पर पहुंचा तो फिर आदिल ने छत पर ही अजगर को रेस्क्यू किया। आदिल ने बताया कि अजगर काफी बड़ा था जिस वजह से वो रेस्क्यू बैग में नहीं आ सकता था, इसलिए उसे बोरी में रेस्क्यू किया गया।
अजगर को सतपुड़ा मेलघाट टाइगर कॉरिडोर के जंगल में छोड़ते समय रानीपुर वन परिक्षेत्र के वन रक्षक रितेश इवने, वन रक्षक मनीलाल भारती, ग्रामीण ब्रज कुमरे, मनोज नागवंशी भी आदिल खान के साथ मौजूद थे। वहीं आदिल ने विश्व सांप दिवस के अवसर पर साथ में मौजूद ग्रामीणों को सांपों के संबंध में जानकारी भी दी।
वही आज शाम को सारनी के शोभपुर क्षेत्र में भी एक अजगर निकला था, जो दो दिन से घर की छत पर बैठा था। आदिल को जब इसकी सूचना मिली तो उन्होंने उसका भी सुरक्षित रेस्क्यू कर जंगल में छोड़ दिया गया ।