मुलताई – ग्राम जौलखेड़ा के बैंक ऑफ महाराष्ट्र की शाखा में पदस्थ तत्कालीन बैंक मैनेजर विनय ओझा को सोमवार को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। तत्कालीन बैंक मैनेजर ओझा पर धोखाधड़ी सहित अन्य धाराओं में केस दर्ज है। केस दर्ज होने के बाद से ओझा फरार चल रहा था। जिसकी पुलिस तलाश कर रही थी।
एसडीओपी नम्रता सोंधिया से मिली जानकारी के अनुसार उसे एक दिन की रिमांड पर लिया गया है। दरअसल वर्ष 2013 में बैंक आफ महाराष्ट्र शाखा जौलखेड़ा में पदस्थ बैंक मैनेजर अभिषेक रत्नम, विनय ओझा सहित अन्य ने मिलकर फर्जी नाम और फोटो के आधार पर किसान क्रेडिट कार्ड बनाकर बैंक से राशि आहरित की थी।
तरोड़ा बुजुर्ग निवासी दर्शन पिता शिवलू की मौत होने के बाद भी उसके नाम से खाता खोलकर रुपए आहरित कर लिए थे। अन्य किसानों के नाम से भी किसान क्रेडिट कार्ड बनाकर लगभग सवा करोड़ रुपए की राशि आहरित की गई थी।
राशि आहरित करने के बाद बैंक मैनेजर अभिषेक रत्नम, विनय ओझा, लेखापाल निलेश छलोत्रे, दीनानाथ राठौर सहित अन्य ने राशि बाट ली थी।
मामले का खुलासा होने पर पुलिस ने अभिषेक रत्नम, विनय ओझा, निलेश छलोत्रे सहित अन्य के खिलाफ धारा 409, 420, 467, 468, 471, 120 बी, 34 और आईटी एक्ट की धारा 65,66 के तहत केस दर्ज किया था।
इस मामले में तत्कालीन बैंक मैनेजर अभिषेक रत्नम, निलेश छलोत्रे सहित अन्य की गिरफ्तारी पूर्व में गई थी। केस दर्ज होने के बाद से विनय ओझा फरार चल रहा था।
एसडीओपी मुलताई नम्रता सोधिया ने बताया गबन के मामले में पूर्व क्रिकेटर नमन ओझा के पिता विनय ओझा को गिरफ्तार करने के बाद न्यायालय में पेश किया गया। उन्हें एक दिन की पुलिस रिमांड देने का आग्रह किया गया था जिसे न्यायालय ने स्वीकार करते हुए एक दिन की पुलिस रिमांड पर सौंपा है।