परिजनों ने बच्चों को सुरक्षित वापस लाने की सरकार से लगाई गुहार
Manipur News – भोपाल – मणिपुर में मैतेई समुदाय को जनजातीय का दर्जा देने को लेकर आदिवासी समाज भडक़ गया और मैतई और आदिवासियों के बीच हिंसग झड़पें शुरू हो गई। इस हिंसा में मणिपुर गए प्रदेश के 21 छात्र फंस गए हैं।
इन छात्रों ने दूरभाष पर परिजनों को बताया कि उनके कैंपस के आसपास रोज बम फूट रहे हैं गोलियां चल रही हैं। हिंसा के चलते बच्चों को खाने-पीने की भी दिक्कतें हो रही हैं। इन बच्चों को सुरक्षित वापस लाने के लिए उनके परिजनों ने शिवराज सिंह सरकार से गुहार लगाई है। इसके अलावा पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान से छात्रों को रेस्क्यू कराने की मांग की है।
लगा हुआ है क्षेत्र में कफ्र्यू | Manipur News
हिंसक घटनाओं के बीच मणिपुर में फंसे बच्चों को लेकर पंधाना विधायक राम दांगोरे ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखा है कि मणिपुर मैतेई आरक्षण विवाद को लेकर हिंसा भडक़ी हुई है। हालात चिंताजनक होते जा रहे हैं। आधे जिलों में कफ्र्यू लगा हुआ है और इंटरनेट सेवाएं बंद है।
मणिपुर की राजधानी इम्फाल की नेशनल स्पोट्र्स यूनिवर्सिटी और दूसरे एजुकेशनल इंस्ट्टीयूट में मध्यप्रदेश के भी विद्यार्थी पढ़ते हैं। नेशनल स्पोट्र्स यूनिवर्सिटी में प्रदेश के 13 विद्यार्थी फंसे हुए हैं। वहीं बाकी छात्र आईआईटी और एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी में फंसे हैं।
राशन सहित खाने-पीने की भी हो रही दिक्कत | Manipur News
अलग-अलग क्षेत्रों में फंसे छात्रों ने अपना दर्द बयां किया है। छात्रों का कहना है कि हमारे कैंपस जहां हम कोचिंग कर रहे हैं यहां तीन दिनों से गोली चल रही है। आपसी विवाद के चलते आसपास बम फूट रहे हैं। कई बार आग लगाने की घटना भी सामने आई है। पहले खाना अच्छा मिल रहा था लेकिन अब राशन और खाने के सामान की भी दिक्कतें हो रही हैं।
इन छात्रों ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से आग्रह किया है कि प्रदेश के सभी छात्रों को यहां से जल्द निकालें स्थिति दिन प्रतिदिन खराब होती जा रही है। गौरतलब है कि मणिपुर में मैतेई ट्राइब यूनियन पिछले एक दशक से मैतेई को जनजातीय वर्ग का दर्जा देने की मांग कर रही है।
इसी सिलसिले में उन्होंने मणिपुर हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। इस पर सुनवाई करते हुए मणिपुर हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को 19 अप्रैल को 10 साल पुरानी केंद्रीय जनजातीय मामलों के मंत्रालय की सिफारिश प्रस्तुत करने निर्देशित किया था। इस सिफारिश में मैतेई समुदाय को जनजातीय का दर्जा देने के लिए कहा गया है। इसके बाद ही मणिपुर में हिंसा भडक़ गई।
ये छात्र फंसे हैं मणिपुर में | Manipur News
बैतूल जिले के आलोक राय, सचिन आर्य, खंडवा जिले के शशिभान तिवारी, शिवम राय, हर्ष राव, ओजस मुधीराज, खरगौन जिले की शिल्पा सोनी, इंदौर के अजय पाल, करण कुंतल, ग्वालियर के हर्षित वर्मा, अंश अग्रिहोत्री, हर्ष सिंह, जबलपुर के सुयश पटेल, शिवपुरी के मनोज पाल, सिंगरौली रितिक मिश्रा, धार के नंदकिशोर यादव, सागर की कामिनी कश्यप, सतना के निखिल सिंह, मुरैना बालकिशन बाजपेयी, पन्ना चेतन पयासी और नीचम की सुजल बिसानी शामिल है।
मणिपुर के इंफाल स्थित नेशनल स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी में स्पोर्ट कोटा से बीएससी द्वितीय वर्ष के छात्र सचिन आर्य जो कि बैतूल जिले के भीमपुर तहसील के ग्राम रंभा के रहने वाले हैं । सचिन के पिता सुरेश आर्य सोमवार को कलेक्टर अमनबीर सिंह बैंस को ज्ञापन सौंप कर उनसे आग्रह किया है कि उनके बेटे को सुरक्षित बैतूल बुलवाया जाए ।
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