Search ई-पेपर ई-पेपर WhatsApp

विजय शाह के विवादित बयान से सरकार और संगठन की स्थिति हुई कमजोर, नेताओं को दी गई

By
On:

नई दिल्ली। मध्य प्रदेश के मंत्री विजय शाह द्वारा कर्नल सोफिया कुरैशी को लेकर दिए गए विवादित बयान के बाद सरकार और संगठन बैकफुट पर आ गया है। यह मामला इसलिए भी महत्वपूर्ण हो गया है, क्योंकि न्यायालय ने स्वत: इस पर संज्ञान लिया और अब मामला सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन है। ऐसे में भाजपा संगठन ने अब अपने नेताओं की वर्चुली क्लास लगानी शुरु कर दी है और समझाइश दे रही है कि जहां समझ न आए कुछ न बोलें बहुत बोलने की आवश्यकता हो तो सिर्फ जय हिंद बोल आगे बढ़ जाएं।      
दरअसल राष्ट्रीय सह संगठन महामंत्री शिवप्रकाश ने अपने एक बयान में पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं से रविवार को कहा कि शहर से लेकर गांव तक सम्मान में तिरंगा यात्रा निकालें और यदि बोलना ही है तो जय हिन्द कहें और आगे निकल जाएं। इसके साथ ही उन्होंने आगे कहा कि यदि इसके अलावा और भी कुछ बोलने का मन हो तो कम से कम जो बोलने जा रहे हो वह अर्थ का अनर्थ न हो, पहले इसका ध्यान कर लें। यह सब इसलिए कहा जा रहा है क्योंकि मध्य प्रदेश के मंत्री विजय शाह ने 11 मई को कर्नल सोफिया कुरैशी को लेकर विवादित बयान दे दिया था, जिसके बाद एक तरफ जहां सत्ता और संगठन को लगातार जनभावनाओं और विपक्ष के विरोध प्रदर्शन का सामना करना पड़ रहा है, वहीं इस मामले में कोर्ट ने स्वत: संज्ञान लेते हुए सख्ती बरती है।  
विवादित बयानों का मामला यहीं नहीं थमा बल्कि इसके बाद भी भाजपा नेताओं ने विवादित बयान दिए, जिससे सत्ता और संगठन बैकफुट पर आ गया। असल में इसके बाद मध्य प्रदेश के ही उप मुख्यमंत्री जगदीश देवडा, सांसद फग्गन सिंह कुलस्ते और फिर मनगवा विधायक नरेंद्र प्रजापति ने ऐसे बयान दे दिए जिससे चारों ओर सभी की किरकिरी हो रही है। यही कारण है कि रविवार को सत्ता व संगठन ने मंत्री, सासद, विधायक और प्रदेश भाजपा के टॉप जनप्रतिनिधियों की वर्चुअल पाठशाला बुलाई और आवश्यक दिशा-निर्देश देते हुए जय हिंद कहने का फार्मूला सुझाया है।  
सूत्रों की मानें तो इस वर्चुअल पाठशाला से भी मंत्री विजय शाह नदारद रहे। अन्य वो नेता जरुर इसमें शामिल हुए जो विवादित बयानों को लेकर सुर्खियां बटोर चुके थे। सूत्र तो यही कहते हैं कि सेना और सीजफायर को लेकर आपत्तिजनक बयान देने वाले ऐसे नेताओं से पूछताछ होगी, कार्रवाई के दायरे में भी लिया जाएगा। इस अहम बैठक के बाद यही संकेत निकल कर आए हैं। संगठन महामंत्री शिवप्रकाश ने स्पष्ट कर दिया है कि बोलने से पहले वरिष्ठ पदाधिकारियों से अनुमति लें और उसके बाद भी यदि मर्यादा लांघी तो कार्रवाई के दायरे में जरुर लिया जाएगा।  

For Feedback - feedback@example.com
Home Icon Home E-Paper Icon E-Paper Facebook Icon Facebook Google News Icon Google News