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Software launch:आज से संपदा 2.0 सॉफ्टवेयर के आधार पर प्रॉपर्टी रजिस्ट्री की प्रक्रिया शुरू

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प्रॉपर्टी की पहचान कस्टोडियम डिपार्टमेंट के जरिए सुनिश्चित की जाएगी  

Software launch: मध्य प्रदेश में आज से संपदा 2.0 सॉफ्टवेयर के आधार पर प्रॉपर्टी रजिस्ट्री की प्रक्रिया शुरू हो रही है, जो राज्य में संपत्ति पंजीयन को पूरी तरह डिजिटल बना देगी। इस नई व्यवस्था के तहत प्रॉपर्टी खरीदने वालों को संपत्ति पर कितना लोन बकाया है, यह जानकारी आसानी से मिल सकेगी। इसके साथ ही प्रॉपर्टी की पहचान कस्टोडियम डिपार्टमेंट के जरिए सुनिश्चित की जाएगी, जिससे प्रॉपर्टी संबंधी धोखाधड़ी को रोकने में मदद मिलेगी।

संपदा 2.0 की मुख्य विशेषताएं:

  1. ई-पंजीयन और ई-स्टॉम्पिंग: अब लोग घर बैठे ही प्रॉपर्टी का ई-पंजीयन कर सकेंगे। इसमें ई-साइन और डिजिटल सिग्नेचर के माध्यम से रजिस्ट्री का काम किया जा सकेगा, जिससे गवाहों की जरूरत नहीं होगी।
  2. प्रॉपर्टी की लोन जानकारी: इस सॉफ्टवेयर से प्रॉपर्टी पर बकाया लोन की जानकारी तुरंत मिल जाएगी, जिससे खरीददार को सही जानकारी प्राप्त होगी।
  3. कस्टोडियम डिपार्टमेंट से पहचान: प्रॉपर्टी की पहचान कस्टोडियम डिपार्टमेंट से कराई जा सकेगी, जिससे प्रॉपर्टी से जुड़ी सभी जानकारी सुरक्षित और सत्यापित होगी।
  4. ई-केवाईसी: पंजीयक की पहचान ई-केवाईसी के माध्यम से होगी, जिससे पंजीयन प्रक्रिया अधिक सुरक्षित और विश्वसनीय बनेगी।
  5. पंजीयन घर बैठे: अब रजिस्ट्री के लिए गवाहों या शारीरिक रूप से उपस्थित होने की जरूरत नहीं होगी। लोग घर बैठे ई-स्टॉम्पिंग और पंजीयन कर सकेंगे।

पायलट प्रोजेक्ट और राज्यव्यापी विस्तार:

अप्रैल 2024 में 4 जिलों (गुना, हरदा, डिंडौरी, और रतलाम) में संपदा 2.0 का पायलट प्रोजेक्ट शुरू किया गया था, और इसकी सफलता के बाद अब इसे पूरे राज्य में लागू किया जा रहा है। वाणिज्यिक कर विभाग द्वारा इसके लिए नोटिफिकेशन जारी किया जा चुका है। इस नई प्रणाली के तहत प्रॉपर्टी ट्रांजैक्शन, लोन और अन्य दस्तावेजों का पंजीयन अब पूरी तरह डिजिटल हो जाएगा।

सीएम और उपमुख्यमंत्री की भागीदारी:

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव और उपमुख्यमंत्री जगदीश देवड़ा द्वारा संपदा 2.0 के ई-पंजीयन और ई-स्टॉम्पिंग का शुभारंभ किया जाएगा। इस कार्यक्रम में सीएम यादव विभागीय अधिकारियों से सॉफ्टवेयर की विशेषताओं पर चर्चा करेंगे। यह प्रणाली न केवल पंजीयन प्रक्रिया को सरल बनाएगी, बल्कि इससे प्रॉपर्टी से संबंधित धोखाधड़ी के मामलों को भी रोका जा सकेगा, जिससे मध्य प्रदेश देश के अग्रणी राज्यों में शामिल हो जाएगा।

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