शासन स्तर पर उन्हें अनुमति नहीं मिली थी
Nisha Bangre – बैतूल – 25 जून को आमला में अंतर्राष्ट्रीय सर्वधर्म शांति सम्मेलन और विश्व शांति पुरस्कार सम्मान समारोह की तैयारियां जोरों पर चल रही हैं। इसी बीच कार्यक्रम में शामिल होने को लेकर डिप्टी कलेक्टर निशा बांगरे(Nisha Bangre) को अनुमति नहीं मिलने से मामला तूल पकड़ गया है।
हालांकि निशा बांगरे लंबी छुट्टी पर हैं और उन्होंने इस कार्यक्रम में शामिल होने की सूचना शासन को दी थी। जिस पर शासन के मार्गदर्शन पर एसडीएम मुलताई ने पत्र दिया है कि वे कार्यक्रम में शामिल नहीं हो सकती हैं। इसको लेकर डिप्टी कलेक्टर निशा बांगरे शासन स्तर पर पुन: पत्र लिख रही है।
क्या है मामला | Nisha Bangre
दरअसल, 25 जून को आमला में गगन मलिक फाउंडेशन एक कार्यक्रम का आयोजन कर रहा है। अंतर्राष्ट्रीय सर्वधर्म शांति सम्मेलन और विश्व शांति पुरस्कार सम्मान समारोह सहित अन्य कार्यक्रमों में शामिल होने के लिए डिप्टी कलेक्टर निशा बांगरे ने अनुमति मांगी थी। लेकिन, शासन ने उन्हें अनुमति नहीं दी है।
बांगरे इन कार्यक्रमों में केंद्रीय भूमिका के रूप में नजर आ रही थी। डिप्टी कलेक्टर निशा बांगरे ने आरोप लगाया है कि संभवत: शासन ने राजनैतिक कारणों से उन्हें कार्यक्रमों में शामिल होने की अनुमति नहीं दी है। यहां खुद उनके घर का उद्घाटन का कार्यक्रम है। इसके अलावा धार्मिक आयोजन हो रहा है। जिसमें शामिल न होने देना ठीक नहीं है। उन्होंने बताया कि प्रशासन ने अब तक कार्यक्रम को लेकर भी कुछ नहीं कहा है।
अगर एन मौके पर कार्यक्रम रोका जाता है तो तथागत बुद्ध के अनुयायी आंदोलन करेंगे। बता दें कि आमला में आयोजित कार्यक्रम में श्रीलंका के कानून मंत्री सहित लगभग 11 देशों के सर्वधर्म प्रतिनिधि शामिल होंगे। साथ ही श्रीलंका से तथागत बुद्ध की अस्थियां भी आएगी।
निशा बांगरे को भेजी चिट्ठी
25 जून को होने वाले कार्यक्रमों में शामिल होने की अनुमति के लिए डिप्टी कलेक्टर निशा बांगरे ने 19 मई को मप्र शासन सामान्य प्रशासन विभाग को आवेदन दिया था। सामान्य प्रशासन विभाग ने डिप्टी कलेक्टर द्वारा चाही गई अनुमति के कृत्यों को मप्र सिविल सेवा आचरण नियम 1965 के नियम 9 (2) के अंतर्गत अनुमत्य नहीं होने एवं नियम 16 (2) के अंतर्गत अनमत्य गतिविधियों में शामिल नहीं होने का हवाला देकर नियमों के आलोक में कार्यक्रमों/ यात्रा में शामिल होने की अनुमति प्रदान नहीं की। मप्र शासन सामान्य प्रशासन विभाग के अवर सचिव (कार्मिक) एसके सेंद्रे ने अनुमति नहीं देने का पत्र 15 जून को डिप्टी कलेक्टर निशा बांगरे को भेजा है। अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) मुलताई ने उक्त पत्र आमला तहसीलदार के माध्यम से डिप्टी कलेक्टर निशा बांगरे को तामिल कराया है।
निशा बांगरे पुन: लिख रही हैं पत्र | Nisha Bangre
सांध्य दैनिक खबरवाणी ने छतरपुर में पदस्थ डिप्टी कलेक्टर निशा बांगरे से चर्चा की तो उन्होंने बताया कि कार्यक्रम की लिखित में अभी तक अनुमति नहीं मिली है। जबकि अनुमति के लिए आवेदन लगाया गया है। उन्होंने कहा कि कार्यक्रम में शामिल होने के लिए मैंने सूचना दी थी। लेकिन शासन स्तर से कार्यक्रम में शामिल होने से मना कर दिया गया है।
मैं फिर से पत्र लिख रही हूं कि मेरे घर का उद्घाटन होने वाला है। बौद्ध की अस्थियां आ रही हैं और धार्मिक आस्था का मामला है। इस प्रोग्राम में ना तो कोई राजनीति की बात है ना ही आगे कोई राजनीति की बात होगी। यह धार्मिक और सामाजिक कार्यक्रम है। कार्यक्रम के शामिल होने के लिए फिर से अनुमति के लिए पत्र लिखूंगी।