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नींद से जागे कुभंकरण को कराया तामसी भोजन,श्रीराम ने युद्व के बाद किया कुंभकरण का वध
मुलताई। नगर में गांधी चौक में चल रही श्री रामलीला में सोमवार की रात्रि में कुंभकरण वध की सुदंर लीला का मंचन किया गया। मेंघनाथ द्वारा भ्राता लक्ष्मण पर शक्ति का उपयोग किया जाता है। जिससे भ्राता लक्ष्मण जी मुर्छित हो जाते है, तब सुषेण वैध के बताने पर केसरी नंदन हनुमान जी हिमालय से संजवनी बुटी लेकर आते है। जिसके बाद लक्ष्मण जी का उपचार संभव हो पाता है। लक्ष्मण की खबर पाते ही रावण अपने छोटे भाई कुंभकरण को निद्रा से जगाता है तथा युद्व भूमि में भेजता है। कुंभकरण को यह वरदान था कि उसे युद्व में कोई नही हरा सकता जब तक कि उसे उसकी निद्रा से कोई ना जगाए। लेकिन कुंभकरण को रावण द्वारा बीच निद्रा में से ही उठा दिया जाता है। जिसके बाद वह युद्वभूमि में युद्व करने जाता है तथा भगवान श्रीराम के हाथों उसका वध हो जाता है। श्रीरामलीला में कुंभकरण का किरदार श्रीरामलीला के सबसे वरिष्ठ पात्र बालकिशन चंदेल द्वारा निभाया गया ,श्रीराम का किरदार राहुल शर्मा ,लक्ष्मण जी का अमृत त्रिवेदी,हनुमान जी का पुरान्तक शर्मा ,विभीषण जी का निर्मल मिश्रा द्वारा निभाया गया। जिनकी लीला देखने गांधी चौक में हजारों की संख्या में दर्शक पहुचें । वही कुंभकरण को रावण द्वारा भोजन कराया गया जिसमें तामसी भोजन की व्यवस्था की गई थी। जिसकी लीला का आंनद हजारों दर्शको द्वारा उठाया गया ।





