मन्नत पूरी होने पर भगत बनकर करते हैं परंपरा का निर्वहन
Betul News – आठनेर – विकासखण्ड क्षेत्र के प्रसिद्ध प्राचीन स्थल हिवरा भवानी मंदिर में सोमवार देवी के बने कुल 45 भगतों ने पूजा अर्चना कर उदो उदो के जयकारे लगाकर परम्परा अनुसार गाड़ा- नाड़ा खींचकर मन्नत पूरी की। भवानी देवी के दर्शन करने एवं आयोजित मेले में हजारों लोग शामिल हुए।
श्रद्धालु ने उतारी मन्नत | Betul News
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व्यक्ति के शरीर में एक कांटा चुभ जाए तो वे दर्द से बिलख उठता है। परंतु हिवरा भवानी मंदिर में चली आ रही परम्परा अनुसार इस वर्ष भी महाराष्ट्र के नागपुर काटोल निवासी सुरजन धुर्वे ने शरीर में सुई से धागा पिरोकर उदो उदो के जयकारे लगाते हुए नाड़ा खेला। जिसे देखने बड़ी संख्या में लोग ग्राम हिवरा पहुंचे। वहीं भवानी भक्त सुरजन धुर्वे ने बताया कि पशु पक्षी मानव हर जीव को दर्द होता है। एक कांटा चुभ जाने पर दर्द का अहसास सभी को होता है। परन्तु मेरी मां भवानी पर सच्ची आस्था और विश्वास के चलते मैंने नाड़ा खींचकर खेला। मैंने भवानी मंदिर में प्रार्थना की थी मेरा कार्य सिद्ध होने पर मैं चैत्र में नाड़ा खींचकर अपनी मन्नत पूरी करूंगा। जो इस वर्ष मेरे द्वारा पूरी की गई।
नहीं होता दर्द का एहसास | Betul News
उन्होंने दर्द वाले सवाल पर कहा कि जब व्यक्ति भगवान के भक्ति में मगन रहता है तब उसे दुख दर्द का कोई अहसास नहीं होता। उसके सभी दुख भगवान स्वयं हर लेते हैं। ऐसा ही मेरा दुख मां भवानी ने हर लिया जिससे मुझे किसी प्रकार का कोई दर्द नहीं हुआ। मामला आस्था से जुड़ा है। कहां जाता है जिसके जैसे भाव रहते हैं इश्वर उसे वैसा ही फल देता है। इस धार्मिक आयोजन में सभी ग्रामीणों एवं मंदिर समिति सदस्यों द्वारा आए सभी श्रद्धालुओं के लिए व्यापक व्यवस्था बनाई गई थी।
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