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घर हो या ऑफिस, इस दिशा में लगाएं स्वास्तिक और खुद देखें शुभता, धन और अवसरों का अद्भुत असर

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स्वास्तिक हमारे जीवन में शुभता और सकारात्मक ऊर्जा का प्रतीक माना जाता है. यह सिर्फ धार्मिक चिन्ह नहीं है, बल्कि वास्तुशास्त्र में भी इसका बहुत बड़ा महत्व है. प्राचीन काल से ही स्वास्तिक को घर, दुकान और ऑफिस में लगाने की परंपरा रही है, क्योंकि यह हमारे आसपास की ऊर्जा को संतुलित करता है. सही दिशा में सही रंग का स्वास्तिक लगाने से जीवन में तरक्की, खुशहाली और अवसरों की वृद्धि होती है, लेकिन ज्यादातर लोग यह नहीं जानते कि किस दिशा में किस रंग का स्वास्तिक लगाना चाहिए, अगर आप भी स्वास्तिक को सही तरीके से इस्तेमाल करेंगे, तो यह आपके जीवन में अचूक परिणाम दे सकता है. आइए जानते हैं इसका सही तरीका और फायदे.

स्वास्तिक क्या है?
स्वास्तिक एक बेहद शक्तिशाली और शुभ चिन्ह है. इसका अर्थ है “स्वयं होने वाला” यानी जो अपने आप घटित हो. यह चार दिशाओं का प्रतिनिधित्व करता है और घर या कार्यस्थल में ऊर्जा को संतुलित करता है. इसे लगाने से घर में सकारात्मकता बढ़ती है और नकारात्मक ऊर्जा खत्म होती है.

किस दिशा में किस रंग का स्वास्तिक लगाना चाहिए?
स्वास्तिक को सही दिशा और सही रंग में लगाने से इसके प्रभाव कई गुना बढ़ जाते हैं. वास्तु के अनुसार इसे इस प्रकार लगाएं –
1. उत्तर दिशा (North):
उत्तर दिशा को अवसरों की दिशा माना जाता है. यहां नीले रंग का स्वास्तिक लगाएं. इससे आपके जीवन में नए मौके और प्रगति के रास्ते खुलेंगे.

2. दक्षिण-पूर्व दिशा (South-East):
इस दिशा का संबंध धन और आर्थिक स्थिरता से है. यहां लाल रंग का स्वास्तिक लगाना शुभ माना जाता है. इससे पैसे का प्रवाह बढ़ता है और आर्थिक परेशानियां दूर होती हैं.
3. पश्चिम दिशा (West):
पश्चिम दिशा का संबंध रिश्तों और सामाजिक पहचान से जुड़ा है. यहां सफेद रंग का स्वास्तिक लगाएं. इससे अच्छे रिश्ते बनते हैं और समाज में सम्मान मिलता है.

स्वास्तिक लगाने के समय ध्यान देने वाली बातें
1. स्वास्तिक हमेशा साफ-सुथरी जगह पर लगाएं.
2. इसे दरवाजे पर लगाते समय ध्यान रखें कि यह उल्टा न हो.
3. स्वास्तिक को रोजाना साफ करें और समय-समय पर इसे नए रंग से सजाएं.
4. इसे लगाते समय मन में अच्छे विचार रखें और सकारात्मक ऊर्जा का अनुभव करें.

स्वास्तिक लगाने के फायदे
1. घर में सुख-समृद्धि आती है और पारिवारिक कलह कम होती है.
2. आर्थिक समस्याओं में सुधार होता है और बिजनेस में तरक्की मिलती है.
3. रिश्तों में प्यार और सहयोग बढ़ता है.
4. नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है और मन शांत रहता है.

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