Ayodhya Deepotsav 2025: भगवान श्रीराम की नगरी अयोध्या इस बार एक नया इतिहास रच रही है। सरयू तट पर हो रहा नौवां दीपोत्सव न केवल धार्मिक उत्साह का प्रतीक बना है, बल्कि पर्यटन के लिहाज से भी अयोध्या का नाम पूरी दुनिया में गूंज रहा है। योगी आदित्यनाथ सरकार के प्रयासों से अयोध्या अब विश्व स्तर पर आकर्षण का केंद्र बन चुकी है।
दीपोत्सव ने बढ़ाई अयोध्या की भव्यता
अयोध्या में 2017 से शुरू हुआ दीपोत्सव आज अंतरराष्ट्रीय पहचान बन चुका है। इस आयोजन ने न सिर्फ राम मंदिर की भव्यता को बढ़ाया है, बल्कि शहर के हर कोने में श्रद्धा और रोशनी की अनोखी झलक देखने को मिल रही है। सरयू घाट पर लाखों दीयों की रोशनी से पूरी नगरी जगमगा उठी है, जिससे श्रद्धालुओं की संख्या हर साल तेजी से बढ़ रही है।
हर साल बढ़ते रहे श्रद्धालु, 2025 में टूटा रिकॉर्ड
पर्यटन विभाग के आंकड़ों के अनुसार, 2017 में 1.78 करोड़ भक्तों ने अयोध्या में दर्शन किए थे। वहीं 2024 तक यह संख्या बढ़कर 16.44 करोड़ तक पहुंच गई। लेकिन 2025 में तो रिकॉर्ड ही टूट गया, जब जनवरी से जून तक ही 23.82 करोड़ से ज्यादा श्रद्धालु अयोध्या पहुंचे। इनमें 23.81 करोड़ भारतीय और लगभग 50 हजार विदेशी पर्यटक शामिल थे। यह आंकड़ा इस बात का प्रमाण है कि अयोध्या अब पूरी दुनिया के लिए भक्ति और संस्कृति का केंद्र बन चुकी है।
कोरोना के बाद अयोध्या में फिर लौटी रौनक
साल 2020 में कोरोना महामारी के कारण अयोध्या में पर्यटकों की संख्या घटी थी। लेकिन इसके बाद 2021 से ही श्रद्धालुओं की भीड़ ने फिर से अपनी मौजूदगी दर्ज कराई। रामलला के दर्शन, दीपोत्सव की जगमगाहट और नव विकसित अयोध्या की छटा ने भक्तों को आकर्षित किया। अब स्थिति यह है कि दीपोत्सव के दौरान होटलों में कमरे बुक करना भी मुश्किल हो गया है।
योगी सरकार के प्रयासों से तेजी से बदल रही है अयोध्या
योगी आदित्यनाथ सरकार अयोध्या को वैश्विक पर्यटन केंद्र बनाने में जुटी है। शहर में विश्वस्तरीय एयरपोर्ट, आधुनिक रेलवे स्टेशन, और चार से छह लेन की सड़कों का तेजी से निर्माण हो रहा है। इससे न केवल देशी-विदेशी पर्यटक आसानी से पहुंच पा रहे हैं, बल्कि स्थानीय लोगों को रोज़गार के नए अवसर भी मिल रहे हैं।
अयोध्या बना विश्व का सांस्कृतिक तीर्थ
आज अयोध्या केवल भारत का नहीं, बल्कि पूरे विश्व का सांस्कृतिक तीर्थस्थल बन चुका है। दीपोत्सव के दौरान यहां का हर कोना भगवान राम की भक्ति और भारतीय संस्कृति की झलक दिखाता है। विदेशी पर्यटक भी अब बड़ी संख्या में यहां पहुंच रहे हैं, जिससे अयोध्या की अर्थव्यवस्था और पहचान दोनों नई ऊंचाइयों पर हैं।





