नीट और जेईई की दिलाई जा रही नि:शुल्क कोचिंग
NEET JEE Coaching – बैतूल – महंगी प्रायवेट कोचिंग को लेकर कई मध्यम और गरीब परिवार के बच्चे अपने सपने साकार नहीं कर पाते हैं। किसी का सपना डॉक्टर तो किसी का इंजीनियर बनने का होता है। सरकारी स्कूलों में पढऩे वाले बच्चे मेडिकल और इंजीनियरिंग की शिक्षा ले इसको लेकर बैतूल कलेक्टर नरेंद्र कुमार सूर्यवंशी के मार्गदर्शन में नि:शुल्क कोचिंग का प्रावधान किया गया है। स्कूल शिक्षा विभाग के द्वारा चार विकासखंड मेंं अलग-अलग कोचिंग सेंटर खोले गए हैं और यहां पर सरकारी टीचर बच्चों को कोचिंग दे रहे हैं। बच्चे भी उत्साह के साथ कोचिंग ले रहे हैं और अपना सपना साकार करने की कोशिश कर रहे हैं।
439 बच्चे ले रहे कोचिंग | NEET JEE Coaching
मेडिकल और इंजीनियरिंग की पढ़ाई के लिए सरकारी स्कूलों के 439 बच्चों को नि:शुल्क कोचिंग दिलाई जा रही है। स्कूल शिक्षा विभाग के द्वारा बैतूल, मुलताई, आमला और प्रभात पट्टन विकासखंड में नि:शुल्क कोचिंग सेंटर खोले गए हैं। बैतूल में 120 बच्चे नीट, 45 बच्चे जेईई, आमला में 29 बच्चे नीट, 8 बच्चे जेईई, मुलताई में 88 बच्चे नीट, 59 बच्चे जेईई और प्रभात पट्टन में 50 बच्चे नीट और 40 बच्चे जेईई की कोचिंग ले रहे हैं।
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हॉस्टल और भोजन की सुविधा
सरकारी स्कूलों में पढऩे वाले छात्र-छात्राएं जो स्थानीय है उन्हें कोचिंग में आने-जाने में कोई दिक्कत नहीं होती लेकिन ग्रामीण क्षेत्र के बच्चे जिन्हें कोचिंग में आने-जाने में दिक्कत होती है इसको लेकर हॉस्टल और भोजन की व्यवस्था भी की जा रही है। जिला शिक्षा अधिकारी डॉ. अनिल कुशवाह ने बताया कि कोई भी मेधावी बच्चा जो इंजीनियरिंग और मेडिकल की पढ़ाई करना चाहता है उसे कोचिंग करने में दिक्कत ना हो इसको लेकर हॉस्टल में ठहरने की व्यवस्था और भोजन की व्यवस्था भी की जा रही है।
अच्छा कालेज दिलाने का प्रयास:कुशवाह | NEET JEE Coaching
जिला शिक्षा अधिकारी डॉ. अनिल कुशवाह ने बताया कि प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव और बैतूल के कलेक्टर नरेंद्र कुमार सूर्यवंशी के मार्गदर्शन में सरकारी स्कूलों के विद्यार्थियों को नि:शुल्क कोचिंग दिलाने के पीछे मंशा है कि उन्हें अच्छे मेडिकल और इंजीनियरिंग कालेज मिले जिससे वे डॉक्टर व इंजीनियर बन सके। इन बच्चों को कोचिंग देने वाले सरकारी शिक्षक भी लगातार मेहनत कर रहे हैं। नि:शुल्क कोचिंग के अलावा बच्चों को विभाग के द्वारा बुक्स भी उपलब्ध कराई जा रही हैं। पिछले साल किए गए प्रयास में जो सफलता मिली थी उसके बाद इस साल स्कूल खुलने के साथ ही कोचिंग शुरू हो गई थी अब परीक्षा खत्म होने के बाद कोचिंग शुरू की गई है। प्रयास है कि पिछले साल से अधिक बच्चों का चयन हो।
शिक्षक और बच्चों में भी दिख रहा उत्साह
नि:शुल्क कोचिंग दे रहे बैतूलबाजार में पदस्थ शिक्षक राहुल वर्मा ने बताया कि कोचिंग में शासकीय विद्यालय के छात्र-छात्राएं शामिल हैं। इनकी नीट और जेईई की तैयारी करवाई जा रही है। बच्चों पर पूरा फोकस किया जा रहा है कि उन्हें अच्छा कालेज मिले और इसी को लेकर तैयारी की जा रही है। नीट की कोचिंग ले रही छात्र प्रणाली जाधव का कहना है कि बचपन से सपना था कि डॉक्टर बने लेकिन हम प्राइवेट कोचिंग में नहीं जा सकते थे क्योंकि वहां ज्यादा पैसे लगते हैं। सरकारी स्कूल में नि:शुल्क कोचिंग मिलने से हमें बहुत अच्छा लग रहा है और हम अपना कैरियर बना सकते हैं।
जेईई की कोचिंग ले रही छात्रा प्रेरणा गावंडे का कहना है कि कोचिंग के लिए मिलानपुर गांव से आते हैं जल्द ही हम लोगों को हॉस्टल और भोजन की सुविधा भी मिल जाएगी। कोचिंग में सरकारी स्कूल के टीचर बहुत अच्छा पढ़ाते हैं। पिछले साल बहुत बच्चों का चयन हुआ था, इस बार भी होगा। और मुझे लगता है कि इस बार मेरा भी चयन होगा। मैं इंजीनियरिंग करना चाहती हूं।
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