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पुतिन के शाही भोज में क्या था ख़ास? शशि थरूर ने बताई अंदर की बात

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राष्ट्रपति भवन में रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के सम्मान में हुए शाही भोज ने एक बार फिर भारत-रूस दोस्ती की गर्माहट दिखा दी। इसी दावत में शामिल होने के बाद कांग्रेस नेता शशि थरूर ने सोशल मीडिया पर अपने अनुभव शेयर किए। उन्होंने बताया कि पूरा माहौल बेहद गरमजोशी भरा और अपनापन से भरा था। थरूर के मुताबिक, रूस से आए डेलीगेशन के लोग बहुत मिलनसार थे और उनसे बातचीत करना सुखद अनुभव रहा।

राष्ट्रपति भवन में पुतिन का शाही स्वागत

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने पुतिन और उनके प्रतिनिधिमंडल का जोरदार स्वागत किया। उन्होंने कहा कि पुतिन की यह यात्रा भारत-रूस रणनीतिक साझेदारी के 25 साल पूरे होने के लिहाज़ से बेहद अहम है। इस पार्टनरशिप की नींव पुतिन की पहली भारत यात्रा (2000) में पड़ी थी। राष्ट्रपति मुर्मू ने यह भी कहा कि पुतिन की व्यक्तिगत भागीदारी ने दोनों देशों के संबंधों को और ताक़त दी है।

भारत-रूस दोस्ती पर राष्ट्रपति का बड़ा बयान

राष्ट्रपति भवन की ओर से जारी बयान में कहा गया कि दोनों देशों की दोस्ती शांति, स्थिरता और साझा प्रगति पर टिकी है। उन्होंने बताया कि साल 2025 भारत-रूस रिश्तों के लिए बेहद फलदायी रहा। राजनीति, व्यापार, रक्षा, न्यूक्लियर ऊर्जा, स्पेस टेक्नोलॉजी, शिक्षा, संस्कृति और पीपल-टू-पीपल कॉन्टैक्ट—हर क्षेत्र में मजबूत प्रगति दर्ज की गई।

थरूर ने कहा—दावत में था अपनापन और आत्मीयता

शशि थरूर ने जो पोस्ट लिखी, उसमें उन्होंने बताया कि राष्ट्रपति भवन में होने वाली शाही दावतें अक्सर औपचारिक होती हैं, लेकिन यह दावत कुछ अलग थी—ज़्यादा अपनापन, ज़्यादा आत्मीयता और बेहद सकारात्मक माहौल। थरूर के मुताबिक, रूस का डेलीगेशन भारत के लोगों और संस्कृति को लेकर काफी उत्साहित और सम्मानजनक रवैया रखता था।

कई बड़ी हस्तियों ने बढ़ाया समारोह का सम्मान

इस शाही भोज में उपराष्ट्रपति सी.पी. राधाकृष्णन, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत कई दिग्गज नेता और अधिकारी शामिल हुए। राष्ट्रपति मुर्मू ने भरोसा जताया कि आने वाले वर्षों में भारत-रूस दोस्ती और गहरी होगी तथा दोनों देश मिलकर नई ऊंचाइयां हासिल करेंगे।

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