Health Tips: बदलते मौसम में ज़ुकाम, खांसी और गले में खराश जैसी दिक्कतें आम हो जाती हैं। कई लोग मौसम के बदलते ही इन संक्रमणों की चपेट में आ जाते हैं, जिससे शरीर थका हुआ महसूस करता है और मन किसी काम में नहीं लगता। ऐसे में अगर आप भी बार-बार होने वाले ठंड-जुकाम (Cold and Flu) से परेशान हैं, तो आइए जानते हैं आचार्य मनीष से कि इन समस्याओं से राहत पाने के लिए क्या अपनाएं।
बदलते मौसम में क्यों बढ़ती है जुकाम की समस्या
मौसम के बदलते ही शरीर की इम्युनिटी (Immunity) कमजोर हो जाती है। इस वजह से वायरल इंफेक्शन, सर्दी-खांसी, और बुखार जैसे रोग तेजी से फैलते हैं। लगातार छींक आना, नाक बहना, गले में दर्द और थकान जैसी समस्याएं रोज़मर्रा के कामों को प्रभावित करती हैं। आचार्य मनीष के अनुसार, अगर शुरुआती लक्षणों को नजरअंदाज किया जाए तो यह समस्या लंबे समय तक रह सकती है।
सर्दी-जुकाम के पहले दिन क्या करें – आचार्य मनीष का सुझाव
आचार्य मनीष का कहना है कि अगर आपको जुकाम के शुरुआती लक्षण दिखाई दें, तो सबसे पहले ठोस भोजन (Solid Food) बंद कर दें। उस समय कुछ न खाएं, केवल गुनगुना पानी, हर्बल टी या काढ़ा (Decoction) लें। इसके अलावा, नारियल पानी और फलों का रस भी ले सकते हैं। ब्रेड, चावल या भारी खाना बिल्कुल न खाएं। ऐसा करने से शरीर जल्दी रिकवर करता है और 3-4 दिन में पूरी तरह ठीक हो सकता है।
काढ़ा बनाने की देसी विधि
आचार्य मनीष बताते हैं कि घर पर ही एक असरदार काढ़ा (Herbal Kadha) तैयार किया जा सकता है। इसके लिए सौंफ, इलायची, तुलसी, अदरक और हल्दी लें। इन्हें पानी में उबालें और दिन में दो बार पिएं। यह काढ़ा शरीर से संक्रमण को दूर करने में मदद करता है और गले को राहत देता है।
क्या हैं इन घरेलू नुस्खों के फायदे
ये आयुर्वेदिक उपाय शरीर को प्राकृतिक रूप से ठीक करने में मदद करते हैं। इससे दवाइयों पर निर्भरता (Dependency) कम होती है। गुनगुना पानी और काढ़ा शरीर से टॉक्सिन्स (Toxins) निकालते हैं और पाचन को बेहतर बनाते हैं। हल्का भोजन लेने से शरीर अपनी ऊर्जा संक्रमण से लड़ने में लगा सकता है। इन नुस्खों से बिना साइड इफेक्ट के राहत मिलती है।
सावधानी और सलाह
ध्यान रखें कि ये सभी नुस्खे सामान्य जानकारी के लिए हैं। अगर लक्षण लंबे समय तक बने रहें या बुखार बढ़ जाए, तो डॉक्टर से परामर्श ज़रूर लें।