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राष्ट्रीय ध्वज में कचरा बांधकर सड़क पर फेंका, नागरिकों द्वारा कार्यवाही की मांग

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राष्ट्रीय ध्वज में कचरा बांधकर सड़क पर फेंका, नागरिकों द्वारा कार्यवाही की मांग

सांध्य दैनिक खबरवाणी विदिशा।

नितीश श्रीवास्तव// जिले की तहसील गंजबासौदा में शनिवार को वार्ड क्रमांक 16, सुंदर मंदिर सावरकर चौक नवीन बायपास की पुलिया पर से गुजरने वाले नागरिक आक्रोशित से नजर आए। मामला पुलिया पर अज्ञात व्यक्ति द्वारा राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा में कचरा बांधकर सड़क पर फेंका गया। जिसे देखकर नागरिक काफी नाराज हुए। नागरिकों ने मामले की जानकारी नगर पालिका सीएमओ रवि प्रकाश श्रीवास्तव को मोबाइल पर देनी चाही परंतु कई बार कॉल करने पर भी उन्होंने कॉल अटेंड नहीं किया, इसी के साथ देहात थाना टीआई मनोज दुबे एवं एसडीओपी शिखा भलावी को भी नागरिकों ने राष्ट्र ध्वज के अपमान मामले की जानकारी देने फोन लगाया परंतु किसी भी जिम्मेदार अधिकारी ने आम नागरिक का फोन अटेंड करना उचित नहीं समझा। तो वही नागरिकों ने एसडीएम विजय राय को मामले से अवगत कराया। एसडीएम ने नगर पालिका अधिकारी वरुण चौबे को मौके पर भेजा। नपा अधिकारी ने तत्काल सफाई कर्मी को बुलाकर तिरंगे झंडे में बंधा कचरा एक तरफ रखवाते हुए, राष्ट्रीय ध्वज को सुरक्षित किया। तो वही इस मामले पर नागरिकों ने आक्रोश व्यक्त करते हुए शासन प्रशासन से स्वत: संज्ञान लेकर अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की बात कही एवं ध्वज का अपमान करने वाले को शीघ्र गिरफ्तार कर उचित वैधानिक कार्यवाही की मांग उठाई। मौके पर विश्व हिंदू परिषद के जिला मंत्री अभिषेक शर्मा गुरुजी, गंगाराम साहू, उमेश साहू, ओमप्रकाश नामदेव, रवि भावसार, गजेंद्र औदीत्य, यश साहू, कान्हा सेन, अमन भावसार, अभिषेक खटीक सहित आदि रहवासी मौजूद रहे।

राष्ट्रीय गौरव अपमान निवारण अधिनियम

भारतीय राष्ट्रीय ध्वज का अपमान करने पर राष्ट्रीय गौरव अपमान निवारण अधिनियम, 1971 की धारा 2 के तहत 3 साल तक की कैद, जुर्माना या दोनों का प्रावधान है। इसमें तिरंगे को जलाना, फाड़ना, कुचलना या किसी अन्य तरीके से नुकसान पहुंचाना, सार्वजनिक रूप से उसका अनादर करना, या गलत तरीके से फहराना या उसका उपयोग करना शामिल है। राष्ट्रीय गौरव अपमान निवारण अधिनियम, 1971 की धारा 2 के तहत, जो कोई भी जानबूझकर भारतीय राष्ट्रीय ध्वज को जलाता है, फाड़ता है, कुचलता है या उसका अनादर करता है, तो उसे दंडित किया जा सकता है। अगर कोई व्यक्ति जानबूझकर तिरंगे का अपमान करता है, उसे सार्वजनिक रूप से फाड़ता या जलाता है तो यह प्रिवेंशन ऑफ इंसल्ट टू नेशन हॉनर एक्ट 1971 के तहत अपराध है. इसके लिए 3 साल तक की सजा, जुर्माना या दोनों हो सकते हैं। ध्वज को केवल 15 अगस्त और 26 जनवरी पर ही नहीं बल्कि हर बार फहराने और उतारने के बाद भी उसके सम्मान का ध्यान रखना हर भारतीय का कर्तव्य है। तिरंगा हमारे देश की आन, बान और शान है इसलिए इसका सम्मान बनाए रखना और सम्मान करना देश का सम्मान करना है। इस तरह तिरंगे के सड़क पर मिलने पर वरिष्ठ अधिकारियों की अनदेखी नगर में चर्चा का विषय है। तिरंगे को पूर्ण सम्मान दिया जाना चाहिए।

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