Important instructions: मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन ने राज्य पुलिस को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) के दुरुपयोग से बचने के लिए सतर्क रहने की सलाह दी है। गृह विभाग की समीक्षा बैठक के दौरान, उन्होंने पुलिस को “फ्यूचर रेडी” यानी भविष्य के लिए तैयार रहने की आवश्यकता बताई और इसके लिए सूचना प्रौद्योगिकी की अद्यतन तकनीकों के इस्तेमाल की बात की। उन्होंने प्रत्येक थाने में सायबर डेस्क, हर जिले में सायबर थाना, और राज्य स्तर पर कॉल सेंटर स्थापित करने का निर्देश दिया, साथ ही सायबर धोखाधड़ी से बचाने के लिए जागरूकता अभियान चलाने की बात की। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि पुलिस को सोशल मीडिया पर निगरानी रखनी चाहिए और भ्रामक खबरें फैलाने वालों के खिलाफ त्वरित कार्रवाई करनी चाहिए। इसके अलावा, नए क्रिमिनल कोड के तहत पुलिसकर्मियों को प्रशिक्षण देने और एफएसएल लैब बनाने के निर्देश दिए गए।
मुख्यमंत्री ने कुछ अन्य महत्वपूर्ण निर्देश भी दिए:
- एडीजी स्तर के अधिकारी नियमित रूप से संभाग स्तर पर दौरे करें और अपराधों की समीक्षा करें।
- उज्जैन में महाकाल मंदिर क्षेत्र में थाना स्थापित किया जाए।
- महिला अपराधों की रोकथाम और नाबालिग बालिकाओं के साथ दुष्कर्म के आरोपितों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए।
- नशे के पदार्थों की तस्करी और गौ-तस्करी के खिलाफ अभियान चलाए जाएं।
- पुलिसकर्मियों के लिए आवास निर्माण के लिए विभागीय अनुमति और ऋण प्रक्रिया को सरल बनाया जाए।
इसके अलावा, मुख्यमंत्री ने नक्सल विरोधी अभियान के तहत मार्च 2026 तक नक्सल गतिविधियों को समाप्त करने का लक्ष्य रखा है। इसके लिए सघन ऑपरेशन और हाकफोर्स की भर्ती की जाएगी। उन्होंने पुलिस बल की भर्ती को जनसंख्या के अनुपात में करने की बात भी कही और कार्यों में उत्कृष्टता दिखाने वाले पुलिसकर्मियों को राज्यस्तरीय “रूस्तमजी” पुरस्कार देने की घोषणा की।
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